क्या रद्द हो जाएगी विजमा यादव की विधानसभा सदस्यता,यहाँ जानिए कितनी होनी चाहिए सजा की अवधि
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Vijma Yadav MLA : उत्तर प्रदेश के प्रयागराज जिले की प्रतापपुर सीट से समाजवादी पार्टी की विधायक विजमा यादव को 22 साल पुराने मामले में दोषी करार दिया गया है। एमपी-एमएलए कोर्ट ने साल 2001 में हुए बवाल और आगजनी के मामले में विजमा को दोषी करार दिया है। उन्हें डेढ़ साल की सजा के साथ ही एक लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया गया है। अगर 2 साल से अधिक की सजा होती तो विजमा की विधानसभा सदस्यता समाप्त हो गई होती।
आखिर क्यों बच जाएगी सदस्यता??
2001 में सराय इनायत थाने के तहत हुए बवाल के लिए विधायक विजमा यादव को दोषी करार दिया गया है। उन्हें पुलिस बल पर हमला और आगजनी के लिए दोषी पाया गया है। मामले में 22 साल के बाद फैसला आया है। ऐसे में अब आजम खान, अब्दुल्ला आजम और खतौली से बीजेपी विधायक विक्रम सैनी के बाद विजमा की सदस्यता भी रद्द होने की कगार पर है। हालांकि डेढ़ साल की सजा होने से सदस्यता बच गई है।
अखिलेश के लिए मुश्किलें बढ़ीं
आजम के बेटे के बाद अखिलेश को एक और बड़ा झटका लगा है। सपा विधायक विजमा यादव 22 साल पुराने केस में दोषी करार दी गई हैं। उन पर 31 पुलिस वालों पर हमले का आरोप है। विजमा यादव पर 8 आपराधिक मुकदमें पहले से ही चल रहे हैं। वह पूर्व विधायक जवाहर यादव की पत्नी हैं, जो पति की हत्या के बाद राजनीति में आईं।
क्या है मामला : Vijma Yadav MLA
21 सितंबर 2001 को श्याम बाबू नामक व्यक्ति के 7 साल के बेटे की मौत सड़क दुर्घटना में हो गई थी। इसके बाद भीड़ ने सहसों पुलिस चौकी के सामने शव को रखकर प्रदर्शन शुरू कर दिया था। उस वक्त सराय इनायत थाने की पुलिस फोर्स पर हमला हो गया। थाना प्रभारी कृपाशंकर दीक्षित सहित पुलिस बल पर ईंट पत्थर से हमला किया गया। आरोप है कि कई लोग असलहों से लैस थे। उस केस में विधायक विजमा यादव पर भीड़ को उकसाने का आरोप लगा।