Geogong Apang : अरुणाचल प्रदेश की राजनीति में सिद्धांतवादी राजनेता जो 22 वर्षों तक रहे मुख्यमंत्री

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Geogong Apang : गेंगोंग अपांग अरुणाचल प्रदेश के एक वरिष्ठ राजनीतिज्ञ हैं. वह अरुणाचल प्रदेश के अलग-अलग विधानसभा क्षेत्रों से कई बार विधायक रहे हैं. उन्होंने अरुणाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री के रूप में सबसे लंबे समय तक सेवा की है, वह लगभग 22 वर्षों तक अरुणाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री रहे हैं. अरुणाचल की राजनीति में गेंगोंग अपांग को सिद्धांतवादी नेता के रूप में जाना जाता है. उन्होंने कई राजनीतिक दलों के साथ संबंध रखा लेकिन सिद्धांतों को सर्वोपरि रखा, जब उनके सिद्धांतों के अनुरूप उनको सब कुछ होता हुआ नहीं दिखाई दिया, तो उन्होंने बिना किसी लालच के उसको त्याग दिया. गेंगोंग अपांग ने अपने कार्यकाल के दौरान कई महत्वपूर्ण फैसले लिए जिनसे अरुणाचल की जनता को विशेष लाभ मिला।

शिक्षित और अनुभवी राजनीतिज्ञ : Geogong Apang

अरुणाचल प्रदेश के 22 वर्षों तक मुख्यमंत्री रहे और कई बार विधायक रहे गेंगोंग अपांग एक शिक्षित अनुभवी राजनेता हैं. उन्होंने 1967 में 12वीं की परीक्षा पास की थी और इसके बाद उन्होंने वर्ष 1970 में जेएन कॉलेज पासीघाट से स्नातक की डिग्री प्राप्त की. अरुणाचल प्रदेश के वर्तमान राजनीति में राहुल सर्वाधिक अनुभवी राजनेता हैं. प्रदेश के साथ-साथ उन्हें पूर्वोत्तर की बेहतर समझ है, उन्होंने अपने मुख्यमंत्री के कार्यकाल में केंद्र से तरह-तरह से समन्वय करके प्रदेश के विकास पर जोर दिया. उनके राजनीतिक अनुभव और राजनीतिक कद ने अरुणाचल प्रदेश में विकास की एक नई गंगा बहा दी थी.

दो दशक से अधिक समय तक रहे मुख्यमंत्री

पूर्व मुख्यमंत्री गेंगोंग अपांग के राजनीतिक जीवन को अगर सफल राजनीतिक जीवन कहा जाए, तो इसमें कोई भी संशय नहीं है. उन्होंने 22 वर्षों तक अरुणाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री के रूप में सेवा की है, इसके अलावा अलग-अलग विधानसभा क्षेत्रों से लगातार कई बार जीते हैं. अरुणाचल प्रदेश की राजनीति में समय-समय पर कई उलटफेर होते रहे, लेकिन अगर कुछ नहीं बदल पाया तो वह था पूर्व मुख्यमंत्री गेंगोंग अपांग का राजनीतिक अनुभव, उन्हें राजनीति की बेहतर समझ थी, इसीलिए उन्होंने अपने प्रतिद्वंद्वियों से कभी भी मात नहीं खाई. अरुणाचल प्रदेश में तमाम छोटे-बड़े दलों द्वारा बने राजनीतिक चक्रव्यूह को भेदकर उन्होंने कई बार मुख्यमंत्री की कुर्सी संभाली और जनता की सेवा की. उनके कार्यकाल में जनता बेहतर महसूस करती थी, क्योंकि उन्होंने आम जनमानस के दैनिक जीवन को बेहतर बनाने के लिए कार्य किया.

राजनीतिक जीवन में सदैव मिली सफलताएं

पूर्व मुख्यमंत्री गेंगोंग अपांग ने अपने राजनीतिक जीवन में सफलता की कई सीढियों को पार किया है. उन्होंने अपनी सक्रिय राजनीति की शुरुआत वर्ष 1975 से की थी और 1975 में ही पहली बार विधानसभा के सदस्य बने थे. इसके बाद 1977 में कृषि मंत्री भी बने. वर्ष 1978 में वह पहली राज्य विधानसभा के लिए चुने गए और उन्होंने फिर इसी यिंगकियोंग-पांगिन विधानसभा क्षेत्र से लगातार तीन बार जीत दर्ज की. इसके बाद वर्ष 1990 में हुए चुनाव में उन्होंने अपना विधानसभा क्षेत्र बदला और उन्होंने तूतिंग-यिंगकियोंग विधानसभा क्षेत्र से लगातार चार बार जीत दर्ज की. गेंगोंग अपांग ने अपने राजनीतिक जीवन में पहली बार 18 जनवरी 1980 को मुख्यमंत्री के रूप में पहली बार शपथ ली थी. इसके बाद वह 1999 तक इस पद पर बने रहे. इसके बाद वे वर्ष 2004 में पुनः मुख्यमंत्री चुने गए और फिर 9 अप्रैल 2007 तक मुख्यमंत्री के पद पर बने रहे.

सिद्धांतों के कारण बीजेपी से दिया त्यागपत्र

गेंगोंग अपांग को सिद्धांतवादी नेता इसलिए कहा जाता है क्योंकि उन्होंने विभिन्न राजनीतिक दलों के साथ मिलकर काम किया. जब कभी भी राजनीतिक दलों ने उनके विचारों के अनुरूप कार्य नहीं किया, तो उन्होंने राजनीतिक दलों को त्याग दिया. गेंगोंग अपांग ने वर्ष 2014 में भारतीय जनता पार्टी को ज्वाइन किया था और इसके बाद उन्होंने लगभग 5 वर्षों तक भारतीय जनता पार्टी के साथ मिलकर काम किया लेकिन जब उनको लगा कि भारतीय जनता पार्टी अपने सिद्धांतों से भटक गई है, तो उन्होंने कहा कि “अब यह पार्टी अटल बिहारी बाजपेयी वाली पार्टी नहीं है, इसलिए मैं इस से त्यागपत्र देना चाहता हूं. भाजपा केवल सत्ता को पाने का एक मंच मात्र बची है. “यह कहते हुए उन्होंने भाजपा से इस्तीफा दे दिया. यह सिर्फ एक उदाहरण है, उनके राजनीतिक जीवन में ऐसे कई उदाहरण दिखाई दे जाएंगे, जिनमें उनके सिद्धांतों की झलक दिखाई देती है.

स्वयं संगठन जैसा है व्यक्तित्व : Geogong Apang

पूर्व मुख्यमंत्री और कई बार विधायक रहे गेंगोंग अपांग इस समय किसी भी राजनीतिक दल के साथ मिलकर काम नहीं कर रहे हैं. वह अपना एक नया राजनीतिक दल बनाने का विचार कर रहे हैं. अरुणाचल प्रदेश की राजनीति में वह काफी सक्रिय हैं. अरुणाचल प्रदेश के कई पूर्व और वर्तमान नेताओं का ऐसा मानना है कि विधायक गेंगोंग अपांग स्वयं ही पार्टी हैं, उनके सिद्धांतों को अरुणाचल की राजनीति में सदैव सराहा गया है. उन्होंने अपने कार्यकाल के दौरान अरुणाचल प्रदेश के लिए अभूतपूर्व विकास कार्य किए. इसके साथ ही उन्होंने वहां की जनता के जीवन को सरल और सुगम बनाया. उन्होंने सड़कों, नालियों तथा रोजगार पर विशेष ध्यान दिया. अगले वर्ष जब देश में लोकसभा का चुनाव चल रहा होगा, तभी अरुणाचल प्रदेश में विधानसभा का चुनाव होना भी तय है.

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